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सर्वाइकल कैंसर

ह्यूमन पेपिलोमा वायरस (एच. पी. वी.) द्वारा संक्रमण

खतरे के कारण
● 18 वर्ष की आयु से पूर्व संभोग करना।
● 1 से अधिक लोगों के साथ यौन संबंध।
●  यौन रोगों का व्यक्तिगत इतिहास।
● बिना डॉ की सलाह के गर्भनिरोधक गोलियों का लंबे समय तक प्रयोग।
● कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली
● धूम्रपान /तंबाकू का सेवन

चिन्ह तथा लक्षण
● संभोग के दौरान रक्त स्त्राव होना।
● दो महावरियो के बीच मे अचानक रक्तस्त्राव का होना।
● महिलाओ में रजोनिवृत्ति के उपरांत रकरस्त्राव होना।

बचाव व उपाय
● यदि आप ऊपर दिए गए किसी भी लक्षण को अनुभव करें तो शीघ्र ही डॉक्टर से सलाह लें।
● यदि विवाहित अथवा यौन सक्रिय महिलाओं तथा प्रौढ़ महिलाओ को नियमित रूप से वी. आई. ए. (विजुअल इंस्पेक्शन विद एसिटिक एसिड) या पैप स्मीयर टेस्ट के द्वारा जांच करानी चाहिए। सही जननांग स्वच्छ्ता बनाये रखे।
● किशोरावस्था एवम प्रारम्भिक युवा अवस्था मे यौन संबंध रखने से बचे।
● एक से अधिक लोगो के साथ यौन संबंध न रखे।
यौन प्रसारित बीमारियों से स्वयं को बचाये।
● किसी भी प्रकार का तम्बाकू उत्पाद का प्रयोग न करे।
● 9 से 25 वर्ष के आयु में एच. पी. बी. टीकाकरण करवा कर स्वयं को बचाये।
● अधिक सुरक्षा हेतु टीकाकरण किशोरावस्था में यौन सक्रिय होने से पूर्व कराएं।
● याद रखें कि टीकाकरण के पश्चात भी नियमित रूप से जांच अवश्य कराएं

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